Day: September 4, 2024

आचमन एवं पवित्रता क्यों ……..?

 सकल सौच करि राम नहावा। सुचि सुजान बट छीर मगावा॥ अनुज सहित सिर जटा बनाए। देखि सुमंत्र नयन जल छाए॥ भावार्थ:-शौच के सब कार्य करके (नित्य) पवित्र और सुजान श्री…

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