Day: July 8, 2020

श्री सत्यनारायण व्रत कथा

पहला अध्याय एक समय की बात है नैषिरण्य तीर्थ में शौनिकादि, अठ्ठासी हजार ऋषियों ने श्री सूतजी से पूछा हे प्रभु! इस कलियुग में वेद विद्या रहित मनुष्यों को प्रभु…

वाणिज्य पर वैदिक दृष्टिकोण

वेदोनित्यमधीयतां तदुदितं कर्मस्वनुष्ठीयतां, वेद में धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष, चार प्रकार के पुरुषार्थ कहे गए हैं,ये चारों मानव जीवन के संतुलन गतिविधयों के लिए बनाया गया है ,जिसमें सर्वप्रथम…

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