समय-समय पर हर व्यक्ति अपने ज्ञान और साधना की शक्ति से सनातन की व्याख्या करता है , किन्तु सनातन को संप्रदाय से जोड़कर ही लोग अपना अर्थ बताते हैं, हमारे अनुसार साधारण शब्दों में धर्म के बहुत से अर्थ हैं जिनमें से कुछ ये हैं- कर्तव्य, अहिंसा, न्याय, सदाचरण, सद्-गुण आदि। धर्म का शाब्दिक अर्थ होता है, ‘धारण करने योग्य’ सबसे उचित धारणा, अर्थात जिसे सबको धारण करना चाहिये। “सम्प्रदाय” एक परम्परा के मानने वालों का समूह है। ऐसा माना जाता है कि धर्म मानव को मानव बनाता है। एक दृष्टांत से आपको बताना चाहूंगा कि धर्म के 10 कौन कौन से लक्षण है
धृति:क्षमादमोऽस्तेयं शौचमिन्द्रियनिग्रह:।
धीर्विद्यासत्यमक्रोधो दशकंधर्मलक्षमणम्।।
अर्थात धैर्य, क्षमा, अस्तेय, पवित्रता, आत्मसंयम, बुद्धि, विद्या, सत्य एवं अक्रोध आदि ये 10 धर्म के लक्षण हैं।
परन्तु हम आजकल धर्म को केवल कर्म कांड से जोड़ कर देखते हैं जिससे लोगो में भ्रम बढ़ता ही जा रहा है,हमें अपने अंदर धर्म को लेकर जिज्ञासा बढ़ानी पड़ेगी जिससे हम अर्थ का अनर्थ न करे और धर्म को समझ सके। बहुत से ऐसे उदाहरण हैं जिनसे हम धर्म को समझ सकते हैं।
हम ‘धर्म’ शब्द के अर्थ को समझने का प्रयास करेंगे। वास्तव में यह संस्कृत का शब्द है जो ग्रीक, लैटिन और फारसी भाषा की तरह ही एक प्राचीन भाषा है और हर शास्त्रीय भाषा की तरह संस्कृत में भी अधिकतर शब्द कुछ मूल शब्दों से उत्पन्न हुए हैं।
धर्म को मूल शब्द ‘धृ’ से लिया गया है जिसका अर्थ है धारण करना, पास रखना, या संचालन करना। इसलिए जो है धारण करता है, पास रखता है या संचालन करता है वही धर्म है। धर्म पूरे ब्रह्मांड की व्यवस्था को बनाए रखता है। इस संदर्भ में धर्म का अर्थ ब्रह्मांड में संतुलन बनाए रखने वाले चक्रीय गतिविधियों के सही संचालन है।
धर्म का अर्थ नैतिकता भी है क्योंकि यह हमें सत्य के निकट ले जाता है, जिस सत्य से ब्रह्माण्ड की व्यवस्था बनी रहती है, इसे ऋतः भी कहते हैं। एक व्यक्ति के लिए स्व-धर्म उसका अपना धर्म है जिसे उसने स्वयं चुना है या उसके सामाजिक स्थान के कारण उसे करना है।
धर्म का अर्थ लोगों की आस्था और परंपरा भी होता है। क्योंकि ऋषि-मुनियों के ध्यान और सिद्धियों से इन परंपराओं को मजबूती मिली है। ये परंपराएं शाश्वत हैं इसलिए इसे सनातन धर्म भी कहा जाता है। धर्म अंग्रेजी के शब्द ‘रिलीजन’ का समानार्थक नहीं है। रिलीजन का अर्थ विश्वास से बंधा हुआ एक समूह है।